नोएडा।
नोएडा एक्सप्रेस-वे पर क्रैश बैरियर के अंदर लगे पोल को शिफ्ट किया जा सकता है। दरअसल इनमें से एक पोल से 14 अगस्त को एक कार टकरा गयी थी। जिसमें 3 स्टूडेंट्स की मौत हो गई थी। यहां करीब 8 पोल इंटीग्रेटेड ट्रैफिक सिस्टम के लगे है। इसके अलावा 11 विज्ञापन के पोल और 5 फुट ओवर ब्रिज नोएडा एक्सप्रेस पर बने है। ये सभी क्रैश बैरियर के अंदर है। ट्रैफिक विभाग से बातचीत करके इन पोल को शिफ्ट किया जा सकता है। ट्रैफिक विभाग से ऐसे स्ट्रक्चर को लेकर भी बात होगी जो क्रैश बैरियर के बाहर नहीं किए जा सकते। प्राधिकरण के एसीईओ संजय खत्री ने बताया कि बतौर एक्सप्रेस वे की पड़ताल के लिए एक कमेटी बनाई गयी है। ये कमेटी अपना काम कर रही है। इन पोल्स को शिफ्ट किया जाए या कोई और मेजर सेफ्टी के पाइंट शामिल किए जाए इसकी रिपोर्ट मांगी गई है। रिपोर्ट सब्मिट होते ही आगे की प्रक्रिया शुरू की जाएगी। 24.5 किमी लम्बा नोएडा एक्सप्रेस वे सिटी सर्विलांस सिस्टम के अंडर आता है। इस एक्सप्रेस वे की निगरानी के लिए यहां आईएसटीएमएस के तहत कैमरे लगाए है। इन कैमरों को पोल पर लगाया गया है। पोल क्रैश बैरियर के अंदर यानी एक्सप्रेस वे की ओर लगे है। इसका कुछ हिस्सा ग्रेटरनोएडा प्राधिकरण के पास भी है। ऐसे में नोएडा वाहन चालकों के लिए इस एक्सप्रेस वे को सुरक्षित बनाना चाहता है। प्राधिकरण डीजीएम राजेश कुमार ने बताया कि पोल को क्रैश बैरियर के पीछे शिफ्ट करना एक लंबा प्रोसेस है। सेफ्टी पाइंट को लेकर मंथन किया जा रहा है। ट्रैफिक विभाग के साथ बैठक कर मेजर पाइंट पर चर्चा की जाएगी। सर्वे किया जाएगा और इसके बाद फाइनल रिपोर्ट सब्मिट की जाएगी।